SEARCH

    Select News Languages

    GDPR Compliance

    We use cookies to ensure you get the best experience on our website. By continuing to use our site, you accept our use of cookies, Privacy Policies, and Terms of Service.

    vagadlive
    vagadlive

    जोधपुर में राकेश सेन हत्याकांड, दोषी को उम्रकैद की सजा:कोर्ट ने 1.65 लाख का लगाया जुर्माना, लेन-देन के विवाद में दोस्त ने ही मार डाला

    1 week ago

    जोधपुर के अपर जिला एवं सेशन न्यायालय ने दईजर इलाके में हुए 7 साल पुराने राकेश सेन हत्याकांड में आरोपी को दोषी करार दिया है। कोर्ट ने उसे उम्रकैद की सजा सुनाई गई है। न्यायाधीश प्रमोद बंसल ने अभियुक्त भारत रैगर पुत्र घेवरराम, निवासी दईजर को हत्या की धारा में आजीवन कारावास और तीन अन्य धाराओं में 10, 7 और 3 साल कठोर कारावास की सजा सुनाई। कुल 1,65,000 रुपए जुर्माना लगाया गया है। अभियुक्त भारत को सभी सजाएं एक साथ, समानांतर रूप से काटनी होंगी। मामला जोधपुर के करवड़ थाना क्षेत्र का है, जहां 31 अगस्त 2018 की सुबह दईजर इलाके में एक युवक का शव मिला था। उस ब्लाइंड मर्डर का खुलासा करते हुए पुलिस ने भारत रैगर को गिरफ्तार किया था। जबकि, उसके नाबालिग साथी को संरक्षण में लिया था। दोस्त से दुश्मन बनने की खूनी कहानी मामला गत 30 अगस्त 2018 की शाम की है। मंडलनाथ चौराहे पर हेयर सैलून चलाने वाले राकेश सेन की दुकान पर उसका दोस्त भारत रेगर आया। गवाहों ने बताया कि दोनों के बीच पैसों की लेन-देन की बात हो रही थी। शाम 7 बजे दोनों साथ मोटरसाइकिल पर कहीं निकल गए। रात 9:30 बजे तक राकेश घर नहीं लौटा। परिवार ने उसके मोबाइल पर फोन किया तो फोन बंद आ रहा था। 31 अगस्त की सुबह खबर मिली कि दईजर मंडलनाथ रोड पर विजयनगर स्कीम के खाली भूखंड में राकेश का शव मिला है। 5000 लोन पर रोज 500 की वसूली पुलिस जांच में सामने आया कि राकेश सेन ब्याज पर पैसे देने का काम भी करता था। एक नाबालिग ने नवंबर 2017 में राकेश से 5000 रुपए उधार लिए थे। राकेश रोजाना 500 रुपए ब्याज वसूलता था। जांच के दौरान पुलिस को पता चला कि 9 महीने तक नाबालिग न मूल रकम लौटा पाया और न ही ब्याज दे सका। राकेश रोज-रोज धमकियां देने लगा और नाबालिग के घर तक पहुंच गया। पैसे देते और वापस लेते समय शराब पार्टी का रिवाज पुलिस पड़ताल में यह भी सामने आया था कि राकेश जिस किसी को उधार रुपए देता था तब उससे शराब पार्टी की मांग करता था और उधार दी गई रकम वापस लेते समय भी। गत 30 अगस्त 2018 की रात को भी भारत रेगर ने रुपए उधार लेने का बहाना बनाकर राकेश को शराब पार्टी में बुलाया। सुनसान खेत में तीनों ने साथ बैठकर शराब पी। फिर मौका पाकर भारत ने पहले से जेब में रखी रस्सी निकालकर राकेश के पीछे से गले पर कस दी। नाबालिग ने जेब से चाकू निकालकर वार किए। फोन पर आखिरी बातचीत इस मामले में एक महिला ने पुलिस को बताया कि 30 अगस्त 2018 को शाम 8:30 बजे उसने राकेश को फोन किया। राकेश ने फोन पर कहा - "मैं और भारत पार्टी कर रहे हैं, थोड़ी देर में फोन करता हूं।" एक घंटे बाद जब उसने फिर फोन किया तो राकेश का फोन बंद आ रहा था। यह राकेश की आखिरी बातचीत थी, जो जिंदा व्यक्ति के रूप में किसी से हुई। चाकू के 17 वार, गला रेता पोस्टमॉर्टम में पाया कि मृतक के गले पर 15 x 4 सेमी का कटा हुआ घाव था। गर्दन पर 17 सेमी लंबाई का लिगेचर मार्क था जो पूरी गर्दन को घेरे हुए था। बाईं छाती पर भी चाकू का गहरा घाव था। यानी पहले रस्सी से गला दबाया गया, फिर चाकू से 17 वार किए गए और अंत में गला काट दिया गया। हत्या के बाद दोनों आरोपियों ने राकेश के गले से सोने की चेन, चांदी का कन्दोरा, पायजेब और 14,100 रुपए लूट लिए। राकेश की पत्नी कांता ने बताया कि उसके पति ने घर से जाते समय चांदी का कन्दोरा और छड़े लिए थे, जो किसी को देने के लिए थे। टेक्नोलॉजी ने खोला ब्लाइंड मर्डर का राज पुलिस ने मोबाइल कॉल डिटेल निकाली तो पता चला कि राकेश के मोबाइल नंबर, भारत के मोबाइल नंबर और नाबालिग के मोबाइल नंबर के बीच घटना के समय कई कॉल हुई थीं। भारत का सिम उसकी मां कमली के नाम पर था, लेकिन इस्तेमाल भारत ही करता था। इस तकनीकी सबूत ने मामले को मजबूत बनाया और ब्लाइंड मर्डर का राज भी उजागर करने में मददगार बना। भारत की निशानदेही पर पुलिस ने घटना में प्रयुक्त चाकू, मोबाइल की सिम, ज्वैलरी, नकदी और भारत के खून से सने कपड़े बरामद किए। एफएसएल रिपोर्ट में इन वस्तुओं पर मानव रक्त की उपस्थिति प्रमाणित हुई। 7 साल की कानूनी लड़ाई के बाद आया फैसला 31 अगस्त 2018 को एफआईआर दर्ज होने से लेकर 8 अक्टूबर 2025 तक 7 साल और 38 दिन लग गए इस मामले में फैसला आने में। इस दौरान 139 दस्तावेजी साक्ष्य और 21 आर्टिकल प्रस्तुत किए गए। कोर्ट में 31 गवाहों में राकेश के भाई दिनेश, मां गीता, पत्नी कांता, दुकान के पड़ोसी बालूराम, सेठाराम, महेंद्र और एक महिला शामिल थे। सभी ने एक स्वर में कहा कि 30 अगस्त की शाम राकेश और भारत साथ मोटरसाइकिल पर गए थे। रेलवे कर्मचारी कालूराम ने बताया कि शाम 8:30 बजे तीनों को रेलवे फाटक की तरफ जाते देखा था। कोर्ट के फैसले में नाबालिग आरोपी को "विधि से संघर्षरत किशोर" कहा गया और उसका मामला अलग से जुवेनाइल जस्टिस बोर्ड के समक्ष चलाया गया। काम नहीं आई बचाव पक्ष की दलीलें भारत के वकील विजय चौधरी और अजीज खान ने तर्क दिया कि पुलिस ने जानबूझकर किशनलाल की जांच नहीं की, जिसकी राकेश से पुराने लेनदेन का जिक्र डायरी में था। लेकिन कोर्ट ने मोबाइल कॉल डिटेल, बरामदगी, एफएसएल रिपोर्ट और गवाहों के आधार पर भारत को दोषी मानते हुए सजा सुनाई।
    Click here to Read more
    Prev Article
    कोटा के होटल में युवती की हत्या, पुलिस से नोकझोंक:परिवार वालों का प्रदर्शन, शव लेने से इनकार, 12वीं की छात्रा स्कूल के लिए निकली थी
    Next Article
    राजस्थान में उत्तरी हवा से हल्की सर्दी:तापमान 20 डिग्री सेल्सियस से नीचे, दिन में धूप से राहत; उदयपुर में रही सबसे ज्यादा ठंडक

    Related Rajasthan Updates:

    Comments (0)

      Leave a Comment